BhojpuriApp

प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना (PMMVY): माताओं को मिलेंगे 11000 रुपए

प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना, स्तनपान कराने वाली महिलाओं और गर्भवती महिलाओं को सहायता प्रदान करने के लिए बनाई गई एक सेंट्रल गवर्नमेंट की योजना है| यह सिर्फ एक सरकारी योजना नहीं, बल्कि लाखों गर्भवती महिलाओं और स्तनपान कराने वाली माताओं के लिए एक सच्चा वरदान है।

आखिर यह योजना है क्या?

सरल शब्दों में कहें तो, प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना गर्भवती महिलाओं और स्तनपान कराने वाली माताओं को आर्थिक सहायता प्रदान करती है। यह योजना 1 जनवरी 2017 से लागू हुई है और इसका मुख्य उद्देश्य गर्भवती महिलाओं को पहले बच्चे के जन्म पर पोषण संबंधी सहायता और मजदूरी के नुकसान की भरपाई करना है।

आप सोच रहे होंगे कि इसकी क्या ज़रूरत है? देखिए, जब कोई महिला गर्भवती होती है या बच्चे को जन्म देती है, तो उसे अपनी सेहत का बहुत ध्यान रखना पड़ता है। इस दौरान उसे पौष्टिक भोजन चाहिए होता है और कई बार काम पर नहीं जा पाती, जिससे घर की आय पर असर पड़ता है। PMMVY इसी नुकसान की भरपाई करती है और उन्हें पोषण के लिए प्रेरित करती है।

कैसे मिलता है फायदा?

इस योजना के तहत, ₹5,000 की कुल राशि लाभार्थी के बैंक खाते में सीधे तीन किस्तों में जमा की जाती है। आइए समझते हैं कैसे:
 1. पहली किस्त (₹1,000): गर्भावस्था के पंजीकरण पर, यानी जब आप आंगनवाड़ी केंद्र या किसी स्वास्थ्य सुविधा में अपनी गर्भावस्था की जानकारी दर्ज कराती हैं।
 2. दूसरी किस्त (₹2,000): गर्भावस्था के छह महीने पूरे होने के बाद और कम से कम एक प्रसव पूर्व जांच (ANC) करवाने पर।
 3. तीसरी किस्त (₹2,000): बच्चे के जन्म के बाद, जब बच्चे को BCG, OPV, DPT और हेपेटाइटिस-बी का पहला टीका लग जाता है।

यह योजना वाकई कमाल की है क्योंकि यह आपको गर्भावस्था से लेकर बच्चे के शुरुआती टीकों तक, हर महत्वपूर्ण पड़ाव पर सहायता देती है।

आपको इसका लाभ क्यों उठाना चाहिए?

 1.पोषण में सुधार: जब आर्थिक मदद मिलती है, तो गर्भवती महिला पौष्टिक भोजन खरीद पाती है, जो उसकी और उसके बच्चे की सेहत के लिए बहुत ज़रूरी है।
 2. बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं: यह योजना महिलाओं को नियमित जांच और टीकाकरण के लिए प्रोत्साहित करती है, जिससे माँ और बच्चे दोनों स्वस्थ रहते हैं।
 3. आय का सहारा: काम पर न जाने से होने वाले आर्थिक नुकसान की कुछ हद तक भरपाई हो जाती है, जिससे परिवार पर बोझ कम होता है।
 4. सुरक्षित प्रसव: योजना के तहत अस्पताल में प्रसव को बढ़ावा दिया जाता है, जिससे माँ और बच्चे दोनों के लिए जोखिम कम होता है।

कौन ले सकता है लाभ?

यह योजना सभी गर्भवती महिलाओं और स्तनपान कराने वाली माताओं के लिए है, बशर्ते वे सरकारी या सार्वजनिक क्षेत्र में नियमित रूप से नौकरी न कर रही हों और वे पहले बच्चे की माँ बन रही हों। इसमें वे महिलाएं भी शामिल हैं जो पहले से ही जननी शिशु सुरक्षा कार्यक्रम (JSSK) के तहत लाभ प्राप्त कर रही हैं।

अगर आप या आपके आस-पास कोई महिला इस योजना के दायरे में आती है, तो उन्हें इसके बारे में ज़रूर बताएं। यह एक छोटा कदम है, पर लाखों परिवारों के लिए एक बड़ी राहत है।

आवेदन कैसे करें?

PMMVY के लिए आवेदन करना बिल्कुल मुश्किल नहीं है। यह प्रक्रिया काफी सरल बनाई गई है ताकि ज़्यादा से ज़्यादा लोग इसका लाभ उठा सकें।

 पंजीकरण के लिए कहाँ जाएं?

 आपको अपने नज़दीकी आंगनवाड़ी केंद्र (AWC) या किसी अनुमोदित स्वास्थ्य सुविधा केंद्र में जाना होगा। यहीं पर आप योजना के लिए अपना पंजीकरण करवा सकती हैं।

ज़रूरी दस्तावेज़ क्या हैं?

आपको कुछ बुनियादी दस्तावेज़ों की ज़रूरत पड़ेगी। घबराइए नहीं, ये वही दस्तावेज़ हैं जो आमतौर पर सबके पास होते हैं:
   1. माँ का आधार कार्ड: यह पहचान और सत्यापन के लिए ज़रूरी है।
   2. माँ के बैंक खाते की पासबुक: क्योंकि सहायता राशि सीधे आपके खाते में आएगी। सुनिश्चित करें कि आपका खाता सक्रिय हो और आधार से लिंक हो।
   3. एमसीपी कार्ड (मातृ एवं बाल संरक्षण कार्ड): यह आपके स्वास्थ्य रिकॉर्ड का प्रमाण है।
   4. पहचान का प्रमाण पत्र: जैसे वोटर आईडी या पैन कार्ड।

 फॉर्म भरना:

एक फॉर्म भरना होता है इसको आपको कुछ नहीं करना है आपकी जो आशा होती है वह भर देगी या जो आंगनबाड़ी कार्यकत्री या सहायिका है वह इस फॉर्म को भर देती हैं |

किस्तें प्राप्त करना:

आपको तीन किस्तों में पैसे मिलेंगे। हर किस्त के लिए आपको कुछ शर्तें पूरी करनी होंगी (जैसे पंजीकरण, जांच और बच्चे का टीकाकरण)। इन शर्तों को पूरा करते ही अगली किस्त आपके खाते में आ जाएगी।
कुछ ज़रूरी बातें जो आपको ध्यान रखनी चाहिए:
 1. समय पर पंजीकरण: अपनी गर्भावस्था के शुरुआती चरणों में ही पंजीकरण करवा लें। इससे आपको पहली किस्त समय पर मिल जाएगी और बाद में कोई परेशानी नहीं होगी।

 2. नियमित जांच: योजना का लाभ उठाने के लिए नियमित रूप से प्रसव पूर्व जांच (ANC) करवाना अनिवार्य है। यह आपकी और बच्चे की सेहत के लिए भी बहुत ज़रूरी है।

 3.टीकाकरण का महत्व: बच्चे के जन्म के बाद समय पर उसका टीकाकरण करवाना न भूलें। यह तीसरी किस्त प्राप्त करने के लिए भी ज़रूरी है।

 4.बैंक खाता सक्रिय रखें: सुनिश्चित करें कि आपका बैंक खाता सक्रिय है और आधार से जुड़ा हुआ है। अगर खाता निष्क्रिय हो जाता है या गलत जानकारी दी जाती है, तो पैसे आने में दिक्कत हो सकती है।

 5.आंगनवाड़ी कार्यकर्ता से संपर्क में रहें: अपनी आंगनवाड़ी कार्यकर्ता से लगातार संपर्क में रहें। वे आपको योजना से जुड़ी हर जानकारी देंगी और आपकी मदद करेंगी।

 6.अपने अधिकारों को जानें: आपको यह जानना चाहिए कि आपको इस योजना के तहत क्या-क्या लाभ मिल सकते हैं। अगर आपको लगता है कि आपको लाभ नहीं मिल रहा है या कोई दिक्कत आ रही है, तो अधिकारियों से संपर्क करें।

PMMVY सिर्फ एक वित्तीय सहायता नहीं है, बल्कि यह एक स्वस्थ भविष्य की नींव है। यह सुनिश्चित करती है कि हमारी नई माँएं और उनके बच्चे स्वस्थ रहें और उन्हें सही देखभाल मिल सके। तो, अगर आप इस योजना के लिए योग्य हैं, तो बिना देर किए इसका लाभ उठाएं और अपने मातृत्व के सफ़र को और भी सुखद बनाएं।

Written by - Shekh Mohammad

Likes (0) comments ( 0 )
2025-07-10 08:25:05

Please login to add a comment.


No comments yet.